नई दिल्ली: हिसार के उकलाना गांव में एक पांच साल की बच्ची के साथ बलात्कार कर उसकी निर्ममता से हत्या कर दी गई. शनिवार को हुई इस घटना में बच्ची के साथ रेप के बाद उसके प्राइवेट पार्ट में आरोपी ने लकड़ी घुसा दी, जिसकी वजह से बच्ची की मौत हो गई. राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) की 2016 की रिपोर्ट के मुताबिक पिछले साल हरियाणा में बलात्कार के 1,189 मामले दर्ज हुए हैं जिनमें से करीब 44 फीसदी यानी 518 मामलों में पीड़ित लड़कियों की उम्र 18 साल से कम है जबकि 671 बलात्कार पीड़ितों की आयु 18 वर्ष से ज्यादा है. हरियाणा के पड़ोसी पंजाब और हिमाचल प्रदेश के अलावा राजस्थान में भी बच्चियों के साथ दरिंदगी के मामले कम हैं.
यदि हम इन आंकड़ों की तुलना राज्यों की आबादी के साथ करें तो हरियाणा में स्थिति काफी गंभीर नजर आती है. इसके साथ ही नाबालिग बालिकाओं के साथ बलात्कार के मामले में भी मध्यप्रदेश देश में अव्वल स्थान पर है. मध्यप्रदेश में इस तरह के 2479 मामले दर्ज किए गए जबकि इस मामले में महाराष्ट्र 2310 और उत्तरप्रदेश 2115 के आंकड़े के साथ क्रमश: दूसरे और तीसरे स्थान पर है. पूरे भारत में 16,863 नाबालिग बालिकाओं के साथ बलात्कार के मामले दर्ज किए गए हैं. 2014 में एक NGO ने देशभर में एक Study की थी, जिसमें कुछ चौंकाने वाले आंकड़े सामने आए थे. इस Study में पता चला था कि देशभर में 52% लड़कियों के साथ घर से स्कूल जाते हुए या वापस आते हुए छेड़छाड़ होती है. स्कूल या कॉलेज जाते हुए 32% लड़कियों का पीछा किया जाता है.
52% लड़कियों के साथ छेड़छाड़ की घटनाएं Bus Stop पर होती हैं. 23% लड़कियों ने ये स्वीकार किया था, कि उनके साथ स्कूल या कॉलेज की Buildings में भी छेड़छाड़ होती है. इसीलिए बड़ी संख्या में लड़कियां स्कूल या कॉलेज जाना ही बंद कर देती हैं. ये आंकड़े बताते हैं कि हमारे देश में लड़कियां सुरक्षित नहीं हैं. ऐसी ही छेड़छाड़ से तंग आकर हरियाणा की इन लड़कियों को इतने बड़े आंदोलन के लिए मजबूर होना पड़ा. यहां पर आपको भारत में महिलाओं के खिलाफ होने वाले अपराधों से जुड़े कुछ आंकड़े भी देखने चाहिए. भारत में हर रोज़ 896 महिलाएं किसी ना किसी अपराध का शिकार होती हैं. हमारे देश में हर रोज़ 94 महिलाओं के साथ बलात्कार होता है. हर रोज़ 162 महिलाओं का अपहरण होता है. और रोज़ 66 महिलाएं Sexual Harassment का शिकार होती हैं.
मध्य प्रदेश ने फांसी का कानून बनाया
मध्य प्रदेश की कैबिनेट ने 5 दिन पहले ही 12 साल या उससे कम उम्र की लड़कियों से बलात्कार या किसी भी उम्र की महिला से गैंगरेप के दोषी को फांसी की सजा देने को मंजूरी दे दी है. कैबिनेट ने अपने उपरोक्त फैसले के लिए 376 एए और 376 डीए में संशोधन किया. यह भी कहा गया है कि लोक अभियोजन की सुनवाई का अवसर दिए बिना जमानत नहीं होगी. शादी का प्रलोभन देकर शारीरिक शोषण करने के आरोपी को सजा के लिए 493क में संशोधन करके संज्ञेय अपराध बनाने का प्रस्ताव किया गया है. महिलाओं के खिलाफ आदतन अपराधी को धारा 110 के तहत गैर-जमानती अपराध और जुर्माने की सजा देने के साथ महिलाओं का पीछा करने का अपराध दूसरी बार साबित होने पर न्यूनतम 1 लाख रुपए का जुर्माना लगाया जाएगा.
2016 में बलात्कार के कुल मामले – 39,068
18 साल से कम आयु की लड़कियों से बलात्कार – 16,863
6 साल से कम आयु की लड़कियों के साथ बलात्कार – 520
6 से 12 साल की बच्चियों से बलात्कार – 1596
12 से 16 साल की लड़कियों से बलात्कार – 6091
16 से 18 साल की लड़कियों से बलात्कार – 8656