डॉ. दीपक अग्रवाल
इस तथ्य से इंकार नहीं किया जा सकता है कि योग के अनेक लाभ हैं, नियमित योग के अभ्यास से लाइलाज बीमारियों का भी इलाज सम्भव हो पाया है।
जहां तक मैंने योग में डिप्लोमा करने और दस साल से प्रयोग करने से यह सीखा है कि योग के लिए नियमित अभ्यास जरूरी है और समय भी निश्चित करना पड़ता है तभी यह लाभ करता है। यौगिक क्रियाओं का गलत अभ्यास नुकसानदायक साबित होता है। यह मैंने स्वयं प्रयोगों से सीखा है।
मेरे पोलियो ग्रस्त एक पैर में यौगिक क्रियाओं से ही आराम मिलता है जिसका लोहा न्यूरो सर्जन और आर्थापेडिक सर्जन तक ने माना है। इसीलिए मैं सैद्धांतिक नहीं प्रयोगात्मक बात कर रहा हूं। यही वजह है कि पत्रकारिता और शिक्षण के साथ-साथ नियमित योग और एक्यूप्रेशर का अध्ययन भी कर रहा हूं।
योग मानव शरीर के लिए एक ऐसी अद्वितीय प्रक्रिया है, जिससे मनोविकारों का शमन होता है। इंटरनेट और संचार क्रांति के इस दौर में सुविधा बढ़ने के साथ-साथ हर कामकाजी के मानसिक तनाव में बढ़ोत्तरी हुई है। जिससे वह कई शारीरिक और मानसिक परेशानियों से घिर जाता है। कभी कभी ये परेशानियां इतनी अधिक बढ़ जाती हैं कि इनका इलाज भी सम्भव नहीं हो पाता, तब योग उस औषधि के रूप में हम सबके सामने आता है। योग और प्राणायाम किसी प्रशिक्षित की निगरानी में ही सीखना चाहिए।
नियमित योग के लाभ से परिचित होकर लाभ उठाए
शांत मन एवं चित्त
योग का केंद्रीय बिंदु है ध्यान एवं श्वसन क्रिया, यह दोनों ही चीज़ें आपके मन व चित्त को स्थिर कर आपको शांति प्रदान करती हैं। हावर्ड विश्वविद्यालय के शोध से यह प्रमाणित हो चुका है कि ध्यान से हर व्यक्ति को लाभ मिलता है और मानव चिंता एवं तनाव से मुक्त रहता है। अगर आप ज़्यादा कुछ नहीं कर सकते तो सिर्फ़ ध्यान और प्राणायाम करें, यह मानसिक शांति एवं शक्ति के लिए बहुत ही अच्छा है।
एकाग्रता
जिन्हें नींद न आती हो और जिनका मन अशांत रहता हो, उनके लिए ध्यान बहुत ही उपयोगी दवा है। ध्यान से एकाग्रता लाने में मदद होती है।
पेशीय शक्ति का निर्माण
योग की विभिन्न मुद्राएँ और आसन शरीर को शारीरिक रूप से और मानसिक रूप से मज़बूत बनाते हैं। योग के नियमित अभ्यास से मांसपेशियों में विभिन्न प्रकार के तनाव, दबाव और खिंचाव का अनुभव होता है, तब आपकी मांसपेशियों मज़बूत होने लगती हैं।
शरीर में लचीलापन
शरीर के वे सारे जोड़ जो कई सालों से जाम हो गए औरमांसपेशियां जो अकड़ गयीं, वे सब योग के अभ्यास से खुलनेलगती हैं जिससे शरीर ज़्यादा लचीला और फुर्तीला रहता है।
जोड़ों के दर्द में राहत
जब आपकी मांसपेशियां मज़बूत होती है और आपकी सेहत सुधरती है तब आपके जोड़ भी मज़बूत हो जाते हैं। जैसे जैसे जोड़ को बांधने वाले लिगामेंट्स या तंतु मज़बूत होने लगते हैं वैसे वैसे आपके जोड़ों का दर्द जाता रहता है।
रक्त संचार होता बेहतर
योग रक्तसंचार को बेहतर करता ही है, साथ में रक्त में हीमोग्लोबिन और लाल रक्त कणिकाओं की मात्रा को भी बढ़ाता है। रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है।