डाॅ. दीपक अग्रवाल
अमरोहा/उत्तर प्रदेश। (सनशाइन न्यूज)
यह कोरोना कोविड-19 ने ही अवसर उपलब्ध कराया कि सेंधा नमक और सरसो के तेल से तीन महीने से भी अधिक समय से मैं अपने दाढ़ दर्द को काबू में किए हुए हूं। अब सोचा इस संबंध में लिखकर जो भोग रहा हूं उससे आप को भी परिचित करा दूं। साथ ही इससे हम अपने स्वदेशी चिकित्सा यानि घरेलू इलाज के महत्व को भी भलीभांति समझ सकते हैं। लेकिन घरेलू इलाज पर जब कोई आधुनिक ख्यातिलब्ध चिकित्सक मोहर लगा दे तो उसका महत्व और बढ़ जाता है।
अब जानिए पूरी कहानी। आठ साल पहले मेरे बांयी ओर के जबड़े के ऊपरी भाग की अंतिम से पहले वाली दांढ़ में कैविटीज हो गई यानि आम भाषा में कीड़ा लग गया। दर्द होने पर हम अमरोहा के प्रसिद्ध दंत चिकित्सक और अपने बड़े भाई समतुल्य डाॅ. आशुतोष गोयल जी के पास जा पहुंचे। उन्होंने आरसीटी की राय दी और मुरादाबाद में आरसीटी एक्सपर्ट डाॅ. अभिनय अग्रवाल के पास भेज दिया। उन्होंने आरसीटी के बाद कैप लगा दी तब से बड़ा आराम है।
बीते साल दाहिनी ओर के जबड़े के ऊपरी भाग की अंतिम से पहली दांढ़ में कैविटीज हो गई। हम फिर मुरादाबाद डाॅ. अभिनय अग्रवाल के पास गए। उन्होंने आरसीटी के बाद कैप लगा दी। अब परेशानी का यहीं अंत नहीं हुआ। कोरोना काल में 4 अप्रैल को इसी दाढ़ में पीड़ा शुरू हो गई।
डाॅ. अभिनय अग्रवाल से बात की तो उन्होंने राय दी कि सरसों के तेल में नमक मिलाकर दाढ़ की मालिश करें और गुनगुने पानी से कुल्ला करें। इससे आराम मिलेगा। उन्हें दिखाया भी तब बताया कि कैप दूसरी लगाई जाएगी। लेकिन अभी इंतजार करना होगा कैप तैयार नहीं हो रही हंै। हालांकि उन्होंने मल्लम भी लगाने को दिया लेकिन मैं तीन दिन लगाने के बाद उसे लगाना छोड़ दिया। अब मुझे सरसो के तेल और सेंधा नमक की मालिश से ही आराम मिल रहा है। दर्द भी गायब है।
नष्कर्षतः सरसो का तेल और नमक दांत दर्द की रामवाण औषधि हैं। अब आप भी इस नुस्खे को अपना कर अपने दांतों की सुरक्षा कर सकते हैं।