डाॅ. दीपक अग्रवाल
अमरोहा/उत्तर प्रदेश (सनशाइन न्यूज)
गांधी जी की पुण्य तिथि एवं विश्व कुष्ठ दिवस के अवसर पर जनपद के सभी कार्यालयों पर कुष्ठ मुक्त भारत हेतु जिलाधिकारी बालकृष्ण की घोषणा पढ़ी गई। जिसमें उन्होंने सभी को कुष्ठ रोग के प्रति जागरूक बनने की प्रेरणा दी। मुख्य चिकित्साधिकारी डाॅ. राजीव सिंघल ने सीएमओ कार्यालय में समस्त कर्मचारियों को कुष्ठ रोग के प्रति जागरूक एवं कुष्ठ रोग पीड़ित व्यक्तियों के प्रति भेदभाव मिटाने और उन्हें उपचार हेतु प्रेरित किया। 30 जनवरी से 13 फरवरी तक स्पर्श कुष्ठ जागरूकता पखवाड़ा चलेगा।
उन्होंने बताया किः
- कुष्ठ माइको बैक्टीरियम लेप्रे नामक जीवाणु से होने वाला एक सामान्य रोग है।
- कुष्ठ रोग किसी पाप का परिणाम नहीं है।
- कुष्ठ छुआछूत का रोग नही है।
- सफेद दाग कुष्ठ नही होता है ।
- कुष्ठ देवी देवता के अभिशाप का परिणाम नही है।
- शरीर के रंग से हल्का लाल हल्का तामिया रंग का कोई भी दाग जिसमे आंशिक अथवा पूर्ण सुन्नपन हो कुष्ठ का हो सकता है।
- हाथ पैर में झनझनाहट सुन्नपन कमजोरी कुष्ठ का लक्षण हो सकता है।
- कुष्ठ का उपचार सभी सरकारी चिकित्सालयों में मुफ्त में उपलब्ध है।
- कुष्ठ का उपचार 6 माह ( पी बी कुष्ठ) एवम 12 माह (एम बी कुष्ठ) होता है।
- कुष्ठ का उपचार एम डी टी अर्थात मल्टी ड्रग थेरेपी है।
- जल्दी जांच एवम उपचार लेने से कुष्ठ से होने वाली विकलांगता से बचा जा सकता है ।
- एम डी टी खाएं कुष्ठ मिटाएं।